Tuesday, July 29, 2025
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    अनुग्रह अनुदान नीति: छत्‍तीसगढ़ में कर्मचारी की मृत्‍यु पर परिजनों को मिलेगा अनुग्रह अनुदान, सरकार ने जारी किया आदेश

    रायपुर ।छत्तीसगढ़ सरकार ने प्रदेश के सरकारी कर्मचारी की सेवा अवधि में मृत्यु होने पर उनके परिजनों को आर्थिक सहायता दी जाएगी। कर्मचारियों को आश्रितों को मदद करने के उद्देश्‍य से अनुग्रह अनुदान नीति में संशोधन कर नई व्यवस्था (Ex Gratia Payment Rules) लागू की है। इस संबंध में वित्त सचिव मुकेश बंसल द्वारा आदेश जारी किया गया है, जो पूर्व में लागू नियमों को निरस्त करते हुए प्रभाव में लाया गया है।

    राज्‍य शासन के निर्देशानुसार, यदि किसी सरकारी कर्मचारी की सेवा के दौरान मृत्यु हो जाती है, तो उनके आश्रितों को बैंड वेतन एवं ग्रेड पे के योग का छह गुना (अधिकतम 50,000 रुपए तक) अनुग्रह अनुदान प्रदान किया जाएगा। यह पात्रता कम से कम एक वर्ष की नियमित सेवा पूर्ण करने के उपरांत ही मान्य होगी।

    किस स्थिति में देय होगा अनुदान?

    • अनुग्रह राशि कर्मचारियों को इन प्रमुख परिस्थितियों में देय होगी, जिनमें:-
    • जब कर्मचारी अपने कर्तव्य (Ex Gratia Payment Rules) पर नियुक्त हो
    • स्वीकृत अवकाश पर हो
    • भारत सरकार द्वारा नियंत्रित संस्था में प्रतिनियुक्त हो
    • शासन द्वारा प्रशिक्षण हेतु भेजा गया हो
    • कार्यग्रहण की अवधि में हो
    • आत्महत्या की स्थिति में (नैसर्गिक मृत्यु की श्रेणी में माना जाएगा)
    • कर्तव्य से लौटते समय दुर्घटना या अन्य कारण से मृत्यु, या सार्वजनिक अवकाश के दौरान मृत्यु होने पर भी पात्रता बनी रहेगी।

    अनुदान के पात्र परिजन कौन होंगे?

    • अनुग्रह अनुदान का वितरण इस क्रम में किया जाएगा:-
    • पति या पत्नी (यदि एक से अधिक विधवाएं हों, तो राशि समान रूप से बांटी जाएगी)
    • ज्येष्ठ पुत्र
    • अविवाहित पुत्री
    • अविवाहित कर्मचारी के माता-पिता
    • यदि पति-पत्नी दोनों सरकारी कर्मचारी हैं, तो किसी एक की मृत्यु की स्थिति में जीवित साथी को ही राशि देय होगी। यदि कोई आश्रित नहीं है, तो कार्यालय प्रमुख की संतुष्टि पर निकटतम संबंधी को अनुग्रह अनुदान स्वीकृत किया जा सकता है।

    भुगतान की प्रक्रिया कैसे होगी?

    मृत्यु के 15 दिनों के भीतर अनुग्रह राशि का भुगतान (Ex Gratia Payment Rules) सुनिश्चित किया जाएगा।

    राजपत्रित अधिकारी के मामले में उनके कार्यालय प्रमुख और अराजपत्रित कर्मचारी के लिए आहरण एवं संवितरण अधिकारी स्वीकृति देंगे।

    यदि कर्मचारी स्वयं कार्यालय प्रमुख हों, तो नियंत्रण अधिकारी स्वीकृति देंगे।

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